ख्वाबो में रंग थे
अन्नखो में नमक
मन में दुनिया
या हाथो मे कल
चांदनी सी जिंदगी
सूरज से पल
ठंडा सा आंगन
और ये तुम
४ दिन ह
4 दिन थे
पता नहीं
चीखू चिलौ?
या अकेले सेहम जौ?
गोदी मैं सर राखु
या सर पर कफ़न?
बास मन की चादर है या सोच की?
नमक तड़के में ह
हां घाव पे?
कोन्सी राह ह ये
जन्ना नहीं
मै तो चली
अब देखलो सब अपनी
Khwabo me rang the
Annkho me namak
Mann me duniya
Or hatho me kal
Chandni si zindagi
Suraj se pal
Thanda sa angan
Aur ye tum
4 din h
4 din the
Pta nhi
Cheeekhu chillau?
Ya akele sehem jau?
Godi me sar rakhu
Ya sar par kafan?
Bass
Mann ki chadar h ya soch ki?
Namak tadke me h
Ya ghav pe ?
Konsi raah h ye
Janna nhi
Mai to chli
Ab dkhlo sab apni